10 मई 2025 को प्रेस इन्फॉर्मेशन ब्यूरो (PIB) की फैक्ट-चेक यूनिट ने सोशल मीडिया पर फैल रही दो प्रमुख फर्जी खबरों को खारिज किया। इन खबरों में से एक दावा भारत के बिजली ग्रिड पर साइबर हमले से संबंधित था, जबकि दूसरा दावा भारत द्वारा एक गुरुद्वारे पर हमले से जुड़ा था। PIB ने इन दोनों दावों को झूठा और पूरी तरह से निराधार बताया, साथ ही नागरिकों से ऐसी अफवाहों पर विश्वास न करने की अपील की।
1. भारत के बिजली ग्रिड पर साइबर हमले का दावा
सोशल मीडिया पर एक पोस्ट तेजी से वायरल हो रही थी, जिसमें यह दावा किया गया था कि पाकिस्तान की सेना ने एक साइबर हमले के माध्यम से भारत के 70% बिजली ग्रिड को ठप कर दिया है। यह दावा "Global Defense Insight" और "Dr. Qamar Cheema" जैसे अकाउंट्स द्वारा फैलाया जा रहा था। इन पोस्टों में यह लिखा था कि पाकिस्तान की सेना ने साइबर हमले के जरिए भारत के बिजली ग्रिड के 70% हिस्से को निष्क्रिय कर दिया।
PIB ने इस दावे को खारिज किया और इसे पूरी तरह से फर्जी करार दिया। PIB ने अपनी आधिकारिक X (पूर्व में ट्विटर) अकाउंट से इस मामले की जांच की और स्पष्ट किया कि ऐसा कोई साइबर हमला नहीं हुआ है। PIB ने लिखा, "पाकिस्तान ने साइबर हमला करके भारत के 70% बिजली ग्रिड को निष्क्रिय कर दिया है, यह दावा पूरी तरह से फर्जी है।" PIB के फैक्ट चेक के अनुसार, यह खबर गलत थी और ऐसे कोई घटना की पुष्टि नहीं हुई है।
2. गुरुद्वारे पर हमले का दावा
दूसरी फर्जी खबर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही थी, जिसमें कहा जा रहा था कि भारत ने ननकाना साहिब गुरुद्वारे पर ड्रोन से हमला किया। इस वीडियो में एक व्यक्ति दावा कर रहा था कि गुरुद्वारे पर हमला किया गया और इसके पीछे खालिस्तान का नाम भी जोड़ा गया। इस खबर के साथ यह दावा किया गया कि भारत ने गुरुद्वारे पर ड्रोन के जरिए हमला किया और यह एक सुनियोजित साजिश का हिस्सा था।
PIB ने इस दावे की भी जांच की और इसे भी झूठा करार दिया। PIB ने स्पष्ट किया कि ननकाना साहिब गुरुद्वारे पर किसी भी प्रकार का हमला नहीं हुआ है। यह दावा भी पूरी तरह से गलत था, और ऐसी कोई घटना दर्ज नहीं की गई थी। PIB ने लोगों से इस प्रकार की अफवाहों पर विश्वास न करने और सिर्फ आधिकारिक स्रोतों से प्राप्त जानकारी को ही सही मानने की सलाह दी।
भारत-पाकिस्तान तनाव और फर्जी खबरों का फैलाव
हाल के दिनों में भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ा है, खासकर भारत के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद। इसके परिणामस्वरूप, दोनों देशों के बीच युद्ध के खतरे का माहौल बन गया है। ऐसे संवेदनशील समय में सोशल मीडिया पर फर्जी खबरों का फैलाव और अधिक बढ़ जाता है, जो किसी न किसी तरीके से दोनों देशों के बीच मौजूद तनाव को और बढ़ा सकती हैं। PIB ने इस तरह की फर्जी खबरों को देश में अशांति फैलाने की साजिश के रूप में देखा है, और ऐसे दावों को खारिज किया है जो केवल अफवाहें और गलत सूचना फैलाने का एक तरीका हैं।
PIB की अपील: सतर्क रहें और अफवाहों से बचें
PIB ने नागरिकों से अपील की है कि वे सोशल मीडिया पर फैल रही फर्जी खबरों पर ध्यान न दें। ऐसी खबरें अक्सर गलत सूचना फैलाने का काम करती हैं और समाज में घबराहट और अस्थिरता पैदा करती हैं। PIB ने जोर देकर कहा कि नागरिकों को हमेशा आधिकारिक स्रोतों से ही जानकारी प्राप्त करनी चाहिए, ताकि वे किसी भी प्रकार की अफवाहों या गलत खबरों से बच सकें।
सरकार की भूमिका और कार्रवाई
PIB ने यह भी बताया कि भारत सरकार इस समय स्थिति पर पूरी नजर बनाए हुए है और किसी भी प्रकार की गलत सूचना को रोकने के लिए सक्रिय कदम उठा रही है। सरकार ने विभिन्न मीडिया और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के जरिए इन झूठी खबरों का खंडन किया है और जनता को सही जानकारी देने के लिए विभिन्न उपाय किए हैं। यह कदम इसलिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि गलत सूचना से देश में अस्थिरता का माहौल बन सकता है और सुरक्षा के मामलों में भी बाधाएं उत्पन्न हो सकती हैं।
निष्कर्ष
PIB की ओर से की गई यह फैक्ट-चेक कार्यवाही यह दर्शाती है कि सोशल मीडिया पर तेजी से फैलने वाली खबरों की सत्यता पर सवाल उठाना जरूरी है। नागरिकों को हर वक्त यह ध्यान रखना चाहिए कि जो भी जानकारी वे प्राप्त करें, वह सत्य और प्रमाणित हो। खासकर जब देश के राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ी बात हो, तो अफवाहों का फैलाव केवल समाज में डर और घबराहट पैदा कर सकता है। इस प्रकार की गलत खबरों से बचने के लिए लोगों को सतर्क रहने की जरूरत है और किसी भी प्रकार की सूचना से पहले उसके स्रोत की सत्यता जांचनी चाहिए।